संवाददाता मनीष कुमार
सोनभद्र(दुद्धी)। स्थानीय नगर में पहली बार कमल का फूल खिला तो लोगों को लगा कि विकास की गंगा बहेगी, नगर में साफ सफाई व शुद्ध पेयजल आपूर्ति से आम लोगों का जीवन बेहतर होगा लेकिन नगर पंचायत के दूरदर्शी सोच ना होने के कारण अब जल्द ही पूरे नगर में संक्रामक बीमारियों की फ़ैलने की आशंका बनने लगी है। लोगों को अभी से ही भय सताने लगा है कि नगर पंचायत के सप्लाई पेयजल के द्वारा अब बीमारियां भी घर घर बांटी जाएगी। बता दे कि इन दिनों लगभग 30 लाख रुपये की लागत से ठेमा नदी जल संयंत्र परिसर में गीला कचरा निस्तारण केंद्र का निर्माण कराया जा रहा है। यहां नगर के निकले गीले कचरे को निस्तारण किया जाएगा, जबकि इसी परिसर में कुछ ही दूरी पर नगर पंचायत का जल संयंत्र भी बना हुआ है और यहां से समूचे कस्बे को पेयजल की आपूर्ति दी जाती है। इसी परिसर में गीला कूड़ा निस्तारण केंद्र बनाए जाने से पेयजल में संक्रामित बीमारियां फैलाने की आशंका जताई जाने लगी है, जिसको लेकर पर्यावरण व सामाजिक कार्यकर्ताओं में रोष व्यापत है।
अधिवक्ता व सामाजिक चिंतक छोटेलाल गुप्ता का कहना है कि आने वाले समय में जल संयंत्र से पेयजल आपूर्ति कर घर घर बीमारियां बांटी जाएगी। उन्होंने डीएम का ध्यान आकृष्ट कर मामले की जांच की मांग उठाई है जिससे समय रहते शासन के धन की बर्बादी होने से बचाया जा सके। इस मामले में ईओ भोला कुशवाहा ने कहा कि वहां कर्मी कम्पोस्ट का निर्माण कराया जाएगा। इससे नगर पंचायत के आय में वृद्धि होगी, इसके लिए सब्जियों वो गोबर का प्रयोग किया जाएगा। इसमें कोई प्रदूषण नहीं होता है ,स्थल का चयन उपयुक्त है।
रेलवे स्टेशन के समीप एमआरएफ सेंटर के पास निर्माण था प्रस्तावित:- दुद्धी| सूत्रों की मानतो नगर पंचायत में जल संयंत्र परिसर में बनवाया जा रहा गीला कूड़ा निस्तारण केंद्र रेलवे स्टेशन के समीप एमआरएफ सेंटर के पास निर्माण कराया जाना था लेकिन वहां ना बनवाकर इसे किसके आदेश से ठेमा नदी जल संयंत्र परिसर में बनवाया जा रहा है यह जांच का विषय है | लोगों का कहना है कि नगर पंचायत प्रशासन द्वारा ठोस कचरा निस्तारण के लिए 32 लाख बने एमआरएफ सेंटर चालू नही हो सका ,अब गीला कचरा निस्तारण केंद्र बनाने में 30 लाख रुपये की राशि का बंदरबाट किया जा रहा है।